फगवाड़ा,(शिव कौड़ा): भारत स्वाभिमान ट्रस्ट के जिला प्रभारी एवं योग शिक्षक दीपक खोसला ने उमस भरी गर्मी में रोजाना कई-कई घण्टे हो रही बिजली कटौती को लेकर अफसोस प्रकट करते हुए यहां वार्तालाप में कहा कि जो घरेलू उपभोगता प्रति महीना 300 युनिट से अधिक बिजली की खपत करते हैं और नियमित रूप से बिजली के बिलों का भुगतान करते हैं, उन्हें बिजली कटौती के संताप से छुटकारा मिलना चाहिये। खोसला ने कहा कि अन्य देशों में करदाताओं को सरकार की तरफ से ढेरों सुविधायें मिलती हैं लेकिन भारत में कर का भुगतान करने वालों को बिजली जैसी मूलभूत सुविधा से भी वंचित किया जाता है जो उचित नहीं है। उन्होंने कहा कि कभी-कभी तो तकनीकी खराबी की बात को स्वीकार किया जा सकता है लेकिन सुबह और शाम के समय अघोषित बिजली कटौती करना ठीक नहीं है। क्योंकि न बच्चे ठीक से तैयार होकर स्कूल जा सकते हैं। न गृहणियां रसोई का काम निपटा सकती हैं और न ही शाम को काम से थका-हारा आया आदमी कूलर व ए.सी की ठंडक का सुख ले सकता है। उन्होंने कहा कि दुकानदार, कारखानेदार और उद्योगपतियों सहित प्रत्येक महीने 300 युनिट से अधिक बिजली की खपत करने वाला उपभोगता पूरा बिल अदा करता है। लेकिन जब बिजली कटौती होती है तो उन्हें ही सबसे ज्यादा नुकसान उठाना पड़ता है क्योंकि वे न व्यापार कर सकते हैं न कारोबार। मशीनरी ठप्प होकर रह जाती है। इसलिए वे मुख्यमंत्री भगवंत मान से मांग करते हैं कि बिजली का बिल अदा करने वाले उपभोगताओं को क्लास वन श्रेणी का उपभोगता मान कर 24 घण्टे बिजली की सुविधा सुनिश्चित की जाये। बेशक इसके लिये अलग से विद्युत केबल क्यों न डालनी पड़े। यदि कोई तकनीकी खराबी भी हो तो क्लास वन श्रेणी के इन उपभोक्ताओं की समस्या को प्राथमिकता के आधार पर दूर किया जाये। पावरकाम कार्यालयों में भी इस विशेष श्रेणी के उपभोगताओं की तकलीफें सुनने और उचित समाधान करने के लिये विशेष स्टाप की ड्यूटी लगाई जाये।

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