वातावरण को बचाने के लिए अधिक से अधिक पेड़ लगाना समय की मुख्य मांग : सासंद संत बलबीर सिंह
ऐमा मांगट,(राजदार टाइम्स): श्री गुरु श्री गुरु नानक देव जी के प्रकाशोत्सव को समर्पित पवित्र बेई के साथ-साथ श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी की छत्रछाया एवं पांच प्यारों के नेतृत्व में गांव धनोआ से निर्मल कुटिया गालोवाल तक विशाल नगर कीर्तन निकाला गया। श्री अखंड पाठ साहिब के भोग उपरांत यह नगर कीर्तन श्री गुरु रविदास गुरुद्वारा साहिब धनोआ से सुबह 8 बजे रवाना हुआ। विशेष रूप में पहुंचे प्रसिद्ध पर्यावरणविद राज्यसभा सदस्य संत बलवीर सिंह सीचेवाल ने संबोधित करते हुए कहा कि श्री गुरु नानक देव जी महाराज जी से जुड़ी पवित्र बेई का पानी गांव धनोआ से प्रारंभ होता है।गुरु पातशाह की स्मृति से धन्य होकर गांव धनोआ बना जो एक अलग पहचान बनाने में सफल हुआ। उन्होंने लोगों को पर्यावरण की रक्षा के लिए अधिक से अधिक पौधे लगाने के लिए प्रेरित किया। अपने सम्बोधन में उन्होंने अकाल पुरख से तत्कालीन सरकारों को सशक्त बनाने की प्रार्थना करते हुए पंजाब सरकार से पवित्र बेई के किनारे किनारे अविलंब मार्ग पक्का करने की भी मांग की। उन्होंने विशिष्टजनों को सिरोपे भेंट कर सम्मानित भी किया। विधायक दसूहा एडवोकेट कर्मवीर सिंह घुम्मण, आम आदमी पार्टी हलका प्रभारी प्रोफेसर जी.एस मुल्तानी, मार्केट कमेटी चेयरमैन हरजीत सिंह सहोता, जत्थेदार हरबंस सिंह मंझपुर, रविदासिया धर्म प्रचार कमेटी मुकेरियां के चेयरमैन नबंरदार चौधरी स्वर्ण दास ने भी विशेष रूप से में शामिल होकर गुरु चरणों में हाजिरी लगाई तथा आशीर्वाद प्राप्त किया। इंजीनियर सतनाम सिंह धनोआ और श्री गुरु रविदास गुरुद्वारा धनोआ के अध्यक्ष प्यारा सिंह और गुरनाम दास ने कहा कि जब से पवित्र बेई की सफाई हुई है। उस समय से गांव धनोआ से पवित्र बेई के साथ नगर कीर्तन का आयोजन किया जा रहा है। इस मौके पर गुरनाम दास, पूर्व चीफ इंजीनियर निर्मल सिंह, भाई मोहन सिंह, सुरिंदर सिंह, बीबी सुनीता देवी, इंदरजीत सिंह ग्लोवाल आदि के अलावा हजारों लोग मौजूद थे। इंजीनियर सतनाम सिंह धनोआ और गुरनाम दास ने बताया कि यह नगर कीर्तन गांव धनोआ से शुरू होकर हिम्मतपुर, सताबकोट, वधैया, टेरकियाना, छुरियां, बेगपुर, भेखोवाल, खेपड़ा, सैदोवाल, बुधो बरकत, छोडिय़ां आदि दर्जनों गांवों से गुजरते हुए निर्मल कुटिया गालोवाल गांव में समाप्त होगा। नगर कीर्तन के दौरान संत बलबीर सिंह सींचेवाल ने रास्ते में हजारों फलदार, छायादार और फूलदार पौधों का लंगर लगाते हुए लोगों से अधिक से अधिक पेड़ लगाने की अपील की।