दिल्ली,23 नवंबर(राजदार टाइम्स): जॉन्स हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी के अनुसार, पूरी दुनिया में अब तक कुल 5 करोड़ 85 लाख से अधिक लोग संक्रमित हो चुके हैं और करीब 14 लाख लोगों की मौत हो चुकी है। कोरोना वायरस महामारी कोविड-19 (ष्टश1द्बस्र-19) के लिए प्रभावी वैक्सीन के जल्दी आने की संभावना प्रबल होती जा रही है क्योंकि अनेकों वैक्सीन की टेस्टिंग शुरू हो चुकी है। इस क्रम में कई वैक्सीन टेस्टिंग के शुरुआती फेज  में हैं और कई अंतिम फेज में पहुंच चुके हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, अभी यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि इस संक्रमण से बचाव के लिए कोरोना वैक्सीन की कितनी खुराकें पर्याप्त होंगी। एस्ट्राजेनेका/ऑक्सफोर्ड ने कहा है कि कोविड-19 वैक्सीन 70 फीसद प्रभावी दिख रही है। टेस्टिंग से यह पता चला है कि यह वैक्सीन कोरोना वायरस संक्रमण से बचाव में 90 फीसद प्रभावी है।
स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने कहा है कि वैक्सीनेशन की शुरुआत के बाद पहले चरण में स्वास्थ्यकर्मी और 65 साल से अधिक उम्र वालों को वैक्सीन दी जाएगी। स्वास्थ्य मंत्री ने उम्मीद जताई कि अगले कुछ माह में वैक्सीन आ जाएगा और अगले साल के मध्य तक 25 करोड़ लोगों का टीकाकरण भी हो जाएगा
बच्चों के लिए संयुक्त राष्ट्र की एजेंसी ने कहा कि अगले साल कोविड-19 वैक्सीन के करीब 2 सौ करोड़ खुराक को विकासशील देशों को भेजा जाएगा। वैश्विक प्रमुखों ने वैक्सीन के एक समान वितरण को लेकर प्रतिबद्धता जताई है।
उधर माइक्रोसॉफ्ट के कोफाउंडर बिल गेट्स ने वैक्सीन को लेकर यह विश्वास जताया है कि अगले साल के फरवरी माह तक ये वैक्सीन अपना प्रभाव दिखाना शुरू करेंगे। उन्होंने कहा कि फाइजर और मॉडर्ना के अलावा एस्ट्राजेनेका जॉनसन एंड जॉनसन और नोवावैक्स से भी प्रभावी वैक्सीन की उम्मीद है।

Previous articleਅਸੀਂ ਬਾਲ ਗਰੀਬਾਂ ਦੇ
Next articleतीन नक्सली ढेर, जवान घायल, छत्तीसगढ़ के कांकेर मुठभेड़ में